दुर्घटना बीमा दावों के जल्द निस्तारण के लिए केंद्र सरकार ऑनलाइन प्लेटफार्म बनाए: सुप्रीम कोर्ट

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दुर्घटनाओं के बाद बीमा दावों का अब जल्द ही निपटारा हो जाएगा। देश की शीर्ष अदालत ने दुर्घटनाओं के बाद बीमा दावों के लंबे समय तक लटके रहने पर कड़ी नाराजगी जताई है। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस, वाहन दुर्घटना दावा अधिकरण (एमकैट) और बीमा कंपनियों को ऐसे मामले त्वरित गति से निपटाने के लिए कई सारे निर्देश भी दिए हैं। कोर्ट ने इसके लिए केंद्र सरकार को भी एक ऑनलाइन प्लेटफार्म बनाने का निर्देश दिया। जानकारी के अनुसार, इस मामले में अगली सुनवाई 4 मई को होगी।

मुआवजे की भुगतान व्यवस्था को ज्यादा कारगर बनाया जाए

सुप्रीम कोर्ट ने अपने निर्णय में कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर सड़क दुर्घटना के पीड़ितों को दिए जाने वाले मुआवजे के भुगतान की व्यवस्था को ज्यादा कारगर बनाया जाए। साथ ही उच्चतम न्यायालय ने बीमा कंपनियों को लंबित मामलों के मुआवजे का पैसा न्यायिक अधिकरणों की तरफ से संचालित बैंक खातों में जमा करने का आदेश दिया। जस्टिस एसके कौल और जस्टिस आर. सुभाष रेड्डी की पीठ ने हाल में 16 मार्च को ये निर्देश जारी किए। जस्टिस कौल और रेड्डी की पीठ ने पुलिस, एमकैट, बीमा कंपनियों और दावा करने वालों समेत सभी हितधारकों को मामलों का त्वरित निस्तारण सुनिश्चित करने के लिए सूचना तकनीक के आधुनिक उपकरणों का उपयोग करने की सलाह दी।

जल्द भुगतान के लिए तकनीक का सहारा लेने को कहा

शीर्ष अदालत ने सड़क दुर्घटना में घायल होने वालों या मरने वालों के परिजनों को मुआवजे के जल्द भुगतान के लिए भी तकनीक का सहारा लेने को कहा। पीठ ने इसके लिए केंद्र सरकार को ऐसा ऑनलाइन प्लेटफार्म बनाने का निर्देश दिया है, जो पूरे देश में अधिकरण, पुलिस अधिकारी और बीमा कंपनियों के लिए आसानी से सुलभ हो ताकि दुर्घटना मामलों का त्वरित व सुचारु निस्तारण कराया जा सके।

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